यू आर द बेस्ट वाइफ
रिव्यु –
यह अजय के. पाण्डे द्वारा लिखित उनकी खुदकी प्रेमकहानी है | जिसे प्रकाशित किया है -सृष्टि पब्लिशर एण्ड डिस्ट्रीब्यूटर्स
पृष्ठ संख्या – २५० , यह अंग्रेजी भाषा में उपलब्ध है | किताब की भाषा बहुत सरल है | यह एक सच्ची प्रेमकहानी है | अमूमन एकसाथ पढ़ने वाले सारे कोलेजीएट की एक ही टाइप की लव स्टोरी होती है | किताब के पहले भाग की लव स्टोरी वैसे ही सब के साथ मैच करनेवाली है जैसे लड़के ने लड़की को प्रपोज करना, एक दुसरे को हर ओकेजन पर गिफ्ट देना पर उतना ही पैसो की तंगी से गुजरना क्योंकि कमाना अभी शुरू नहीं हुआ है | इंटर – कास्ट की वजह से माता – पिता को मनाने में मुश्किलों को झेलना | बाद में बहुत सारे प्रयत्नों के बाद आखिर में शादी हो जाना | फिर एक हैप्पी लाइफ जीना और अपने बच्चो को अपनी कहानी सुनाना | इस कहानी में फर्क इतना है की इन्होने अपने माता – पिता के आशीर्वाद के साथ शादी करने का फैसला किया न की पहले शादी कर के बाद में उन्हें मनाने का………..
वैसे यह हर व्यक्ति पर निर्भर रहता है की वह अगले इन्सान के साथ कैसा बर्ताव करे | यह किताब भी पहले भाग तक एक हल्की – फुल्की प्रेमकहानी लगती है जिसे लेखक ने थोडा सा मजकियां लहजे में व्यक्त किया है |
लेकिन कहानी का दूसरा भाग उतना ही सीरियस है | पढ़ने के बाद आप को रेस्टलेसनेस जरूर हो जाएगी | कहानी को पढ़ने के बाद आप को लगेगा की हर कहानी की happy एंडिंग नहीं होती |
यह अलग बात है की भावना जिसे अजय बहुत प्यार करते थे | अभी उनके साथ नहीं है | भले ही वह उस दुनिया में चली गई हो जहाँ से कोई वापस नहीं आता लेकिन भावना , अजय की यादो में हमेशा जिन्दा रहेगी |
यह प्रेम कहानी पढ़ने के बाद आप को समझ में आएगा की आप का जीवनसाथी अभी भी आप के साथ है | उसका ख्याल रखे , सारे गिले शिकवे भुलाकर उसके साथ प्यार से रहे | यहाँ कोई अमर होने के लिए नहीं आया जो आप अपने जीवन का कीमती वक्त उनसे नफरत करने में गुजारे | इसी नई कोशिश के साथ की आज से सबके साथ अच्छे से रहे …….
देखते है इस किताब का सारांश……..
सारांश –
यह कहानी है अजय और भावना के प्रेमकहानी की जो इंजीनियरिंग कॉलेज में साथ में पढ़ते है | उन्हें एक दुसरे से प्यार हो जाता है | चार साल साथ में पढने के बाद , भावना जॉब करती है तो अजय एम्.बी.ए. में एडमिशन लेता है | जब अजय को भी जॉब लगती है तो एक दुसरे के माता पिता को मनाकर उनकी शादी हो जाती है | शादी के कुछ ही महीनों बाद भावना के साथ क्या होता है ? यह अजय ने अपनी भावनाओ के साथ पुरे डिटेल में लिखा है | भावना के जाने के बाद अजय को घर कैसे खाने को दौड़ता है ? यह पढ़ते – पढ़ते आँखों में आंसू आ जाते है | यह पढ़ते वक्त हम तुरंत ही अपने loved one के बारे में सोचने लगते है|
अजय कहते है की यह किताब उन्होंने अपनी पत्नी भावना को अमर बनाने के लिए लिखी | इस किताब के बिक्री का पैसा वह दान में देनेवाले है | वह जिस N.G.O.से जुड़े है उसका पूरा ब्यौरा आप को किताब में ही मिल जायेगा |
हमारी पर्सनल रिक्वेस्ट है की आप इस किताब को जरूर खरीदिये…….
इस किताब के पैसो से अजय जो अच्छा काम करेंगे उसमे आप भी भागिदार हो जायेंगे | इस किताब के पैसो की वजह से अगर एक भी अनाथ बच्चा पढ़ लिखकर अपने पैरो पर खड़ा हो गया और अच्छा जीवन जीने लगा तो भावना वैसे भी अमर हो जाएगी…….
आशा करते है की भावना जहाँ भी हो खुश हो…….
और भावना की सोल आप के पास जल्द ही वापस आये एक बेटी के रूप में…. जैसा की अजय ने किताब में लिखा…….
धन्यवाद !
Wish you happy reading ……